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कोरियर सर्विस बिजनेस कैसे शुरू करें? | Courier Service Business in Hindi

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कोरियर सर्विस बिजनेस कैसे शुरू करें? | Courier Service Business in Hindi

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Courier Service Business in Hindi: आज के समय में मनुष्य की जीवन शैली पूर्णतया बदल चुकी है, जिसमें उसने अपनी सुविधा की दृष्टि से कई सेवाओं को शामिल कर लिया है। जिससे उसके कार्य बहुत ही आसानी से संपन्न हो जाते हैं। ऐसी ही सेवाओं में शामिल कोरियर सर्विस के बारे में आज हम बात करेंगे।


कोरियर सर्विस की महत्ता वर्तमान समय में बहुत अधिक बढ़ गई है। पूर्व में कोरियर के माध्यम से लोग अपने दस्तावेजों का आदान-प्रदान करते थे। परंतु वर्तमान समय में लोग किसी भी वैद्य सामान को एक जगह से दूसरी जगह एवं देश विदेश भेज रहे हैं।


जब इस सेवा का प्रारंभ किया गया था तब कुछ व्यक्तियों के द्वारा ही इस सेवा का उपयोग किया जाता था। परंतु वर्तमान समय में जबकि व्यक्ति इतना व्यस्त होता है। इस सेवा का उपयोग एवं चलन बहुत अधिक बढ़ गया है।


कोरियर सर्विस बिजनेस कैसे शुरू करें? | Courier Service Business in Hindi

कूरियर सर्विस व्यवसाय क्या है (Courier Service Business)

आज की व्यस्त जीवनशैली में व्यक्ति अपने कार्य को करने के लिए विभिन्न सेवाओं का उपभोग करता है। कोरियर सेवा की यदि बात की जाए तो इसका उपयोग महत्वपूर्ण दस्तावेजों को एवं सामानों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर भेजने के लिए किया जाता है।

क्योंकि व्यक्ति अपनी व्यस्तता के कारण स्वयं एक जगह से दूसरी जगह जाने में समर्थ नहीं होता है। इसलिए वह कोरियर सर्विस का उपयोग कर अपने सामान को एक जगह से दूसरी जगह, एक शहर से दूसरे शहर एवं एक राज्य से दूसरे राज्य तक भेजने में सक्षम होता है।

अतः ऐसा व्यक्ति या व्यवसाय कंपनी, जो अपने ग्राहकों को यह सेवा प्रदान करता है, उसे ही कोरियर व्यवसाय कहा जाता है। कोरियर व्यवसाय अपने ग्राहकों को राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर यह सेवा प्रदान कर रहा है।


कूरियर व्यवसाय एक ऐसी कंपनी का नाम है जो विभिन्न प्रकार की कंपनी और आम जनता को एक ऐसी फैसिलिटी प्रदान करती है जिसके अंतर्गत वह अपने जरूरी दस्तावेज़ व अन्य सामग्री एक पते से दूसरे पते तक भेजने व पहुंचाने का काम करते हैं। सरल शब्दों में कहें तो एक व्यक्ति अपने किसी भी सामान को यदि दूसरे व्यक्ति तक पहुंचाना चाहता है तो उसे खुद वहां जाने की आवश्यकता नहीं होती है। यह सब काम कूरियर कंपनी के द्वारा किया जा सकता है। अपनी इन सेवाओं के बदले कूरियर कंपनी उपभोक्ताओं से कुछ निर्धारित राशि का भुगतान करने के लिए कहते हैं और उपभोक्ता आराम से उस राशि का भुगतान उन कंपनी को करती भी हैं।


कूरियर कंपनी व्यवसाय के लिए भारत में स्कोप

आजकल घर बैठे सामान ऑनलाइन आर्डर करके घर पर मंगाना बहुत कॉमन सा हो गया है। ऐसे में सबसे ज्यादा कमाई कूरियर कंपनी की होती है क्योंकि वह दुकानदार और बड़े बड़े शोरूम से आपके द्वारा ऑर्डर किया गया सामान आप तक पहुँचाते हैं। इसके बदले उन्हें कमीशन और कुछ निर्धारित राशि प्राप्त होती है। यदि बात की जाए भारत में मौजूद कूरियर मार्केट की तो आपको बता दें कि साल 2015 से 16 के अनुमानित आंकड़ों के अनुसार कूरियर मार्केट को लगभग 14 करोड का सालाना प्रॉफिट हुआ था। और धीरे-धीरे आने वाले समय में यह साल 2019 से लेकर 2020 में अब तक 20 करोड़ तक पहुंच गया है। जबकि भारत में आज भी ऐसे बहुत से स्थान हैं जहां पर कूरियर इंडस्ट्री पहुंच ही नहीं पाई है। ऐसे में यदि आप कूरियर व्यवसाय को अपना पेशा चुनते हैं तो आप दिन प्रतिदिन इसमें लाभ कमा सकते हैं। क्योंकि आज के टाइम में ऐमेज़ॉन, फ्लिपकार्ट और न जाने ऐसी कितनी कंपनी बन चुकी है जो घर बैठे उपभोक्ताओं तक सामान पहुंचाने का काम करती हैं। ऐसे में यदि आप इन कंपनियों के साथ जुड़कर खुद अपना कूरियर व्यवसाय आरंभ करते हैं, तो आप आसानी से कम निवेश में ज्यादा पैसा कमा सकते हैं।



कोरियर बिजनेस कैसे शुरू करें?

कोरियर व्यवसाय को शुरू करते समय व्यवसायी के पास दो विकल्प मौजूद होते हैं, जिनमें से पहला विकल्प है कि व्यवसायी स्वयं की कोरियर कंपनी प्रारंभ कर दें। लेकिन इस तरह खुद की कोरियर कंपनी शुरू करने में व्यवसायी को लागत बहुत अधिक आ सकती है, जो कि करोड़ों में होगी। दूसरे विकल्प की यदि बात की जाए तो व्यवसायी किसी पूर्व से प्रचलित कोरियर कंपनी की फ्रेंचाइजी लेकर भी यह व्यवसाय शुरू कर सकता है।

इसमें पहले विकल्प की तुलना में लागत कम आती है। अतः यह व्यवसायी के ऊपर निर्भर करता है कि वह व्यापार को कितनी पूंजी एवं लागत के साथ शुरू करना चाहता है। पहले विकल्प में व्यवसायक को बहुत अधिक खर्चा आएगा, जबकि दूसरे विकल्प को चुनने से व्यवसाय को लॉजिस्टिक से लेकर ट्रांसपोर्टेशन तक का सारा खर्चा एवं प्रबंध उस कंपनी के द्वारा ही पूरा किया जाता है।

अतः बहुत से कोरियर सर्विस वाले फ्रेंचाइजी लेकर ही अपने व्यवसाय को शुरू करते हैं, जिससे लागत कम आती है और जोखिम की मात्रा भी कम हो जाती है।



खुद की कोरियर कंपनी शुरू करना

यदि व्यवसायी स्वयं की कंपनी शुरू करना चाहता है तब व्यवसायी के निवेश का आकार बड़ा होगा एवं कोरियर बिजनेस को शुरू करते समय व्यवसायी इसे छोटे क्षेत्र से भी शुरू कर सकता है। जिसमें वह अपनी सेवाएं किसी विशेष क्षेत्र या शहर से शुरू कर सकता है, जहां वह ग्राहकों को कोरियर सेवा प्रदान करें।


इसमें उसे स्वयं का ट्रांसपोर्टेशन का खर्चा लॉजिस्टिक्स, वेयरहाउस आदि स्थापित करनी होंगे और संबंधित क्षेत्रों में भी उसे स्वयं का कार्यालय खोलने की जरूरत होगी, जिसमें उसे बहुत अधिक खर्चा आएगा। अतः ऐसे व्यक्ति ही स्वयं की कोरियर कंपनी स्थापित करें, जिनके पास निवेश की बहुत अधिक संभावना एवं व्यवस्था हो।

इसके अलावा स्वयं की कोरियर कंपनी खोलने में व्यवसायी को अपनी कंपनी को रजिस्टर करने की आवश्यकता होगी, जिसमें उसे विभिन्न प्रकार के बिजनेस एंटिटी में से किसी एक विशेष एंटिटी का चयन करना होगा, जिसके तहत उसे वैधानिक रूप से अपनी कंपनी को रजिस्टर करना होगा। व्यवसायी यदि चाहे तो बिजनेस को साझेदारी, प्रोपराइटरशिप और प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के तौर पर भी रजिस्टर कर सकता है।



भारत में कूरियर व्यवसाय कैसे स्थापित करें

भारत में कूरियर व्यवसाय स्थापित करने के 2 तरीके उपलब्ध हैं। आइए समझ लेते हैं दोनों ही विकल्पों को विस्तार से :-


अपनी खुद की लॉजिस्टिक और कुरियर कंपनी सेट करने का तरीका :- इस विकल्प के अनुसार खुद की ही एक लॉजिस्टिक कूरियर कंपनी आरंभ करने के लिए आपको उचित मात्रा में धन की आवश्यकता होती है। वैसे तो आप छोटे पैमाने पर भी इसकी स्थापना कर सकते हैं परंतु उसमें भी आपको अधिक धनराशि की आवश्यकता होगी क्योंकि एक कुरियर कंपनी के साथ जुड़ने के लिए आपको बहुत सारे एंप्लॉय की आवश्यकता होती है जो आपके साथ काम कर सके और उपभोक्ताओं के घर तक उनका सामान पहुंचा सके। इसलिए भारत में यदि आप अपनी स्वयं की कुरियर कंपनी आरंभ करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको कई सारे निवेशक जुटाने होंगे, जो आपके साथ मिलकर आपके व्यवसाय में पूँजी लगा सकें और उसके बाद आपको अपनी कंपनी को प्राइवेट लिमिटेड या एक पंजीकृत कंपनी के रूप में बनाना होगा।


किसी प्रतिष्ठित कूरियर कंपनी के साथ जुड़ना या फ्रेंचाइजी लेना :- यदि आप अधिक धन एकत्रित नहीं कर सकते हैं तो आप एक प्रतिष्ठित कूरियर कंपनी से जुड़ सकते हैं या उसकी फ्रेंचाइजी लेकर अपना एक अलग व्यवसाय आरंभ कर सकते हैं। आज के समय में भारत में ऐसी बहुत सारी कूरियर कंपनियां मौजूद हैं जो आपको फ्रेंचाइजी देने के लिए तैयार होती हैं, बस आपको कूरियर कंपनी की फ्रेंचाइजी लेने के लिए निम्नलिखित चीजों की आवश्यकता होती है :- 


  1. फ्रेंचाइजी लेने के लिए लाइसेंस और कर भुगतान का पंजीकरण पत्र,


  1. जिस कंपनी से आप फ्रेंचाइजी ले रहे हैं उनके साथ जुड़ने के सभी दस्तावेज,


  1. फ्रेंचाइजी लेने के बाद आपको वह स्थान ढूंढना होगा जहां पर आप अपनी कंपनी खोलना चाहते हैं,


  1. फ्रेंचाइजी लेने के बदले आपको एक निर्धारित सुरक्षा राशि को भी जमा कराना होता है, वह राशि कूरियर कंपनी पर निर्भर करती है कि वह आपसे या किसी भी व्यक्ति से फ्रेंचाइजी लेते समय कितनी धनराशि लेना चाहते हैं।


  1. आपके सभी प्रकार के वित्तीय विवरण जैसे बैंक स्टेटमेंट या बैंक पासबुक की फोटो कॉपी भी आपके पास मौजूद होनी चाहिए,


  1. कूरियर कंपनी से फ्रेंचाइजी लेने के लिए आपको कूरियर हेड ऑफ़िस से स्वीकृति पत्र दिया जाता है जिसका आपके पास होना बेहद आवश्यक है।


  1. जिस कंपनी के साथ आप फ्रेंचाइजी कर रहे हैं उस कंपनी और आपके बीच एक समझौता पत्र होना आवश्यक है।


भारत में ऐसी बहुत सारी कंपनी है जो अपना नाम फ्रेंचाइजी के तौर पर उस व्यक्ति को देने के लिए तैयार रहती हैं जो इस व्यवसाय में निवेश करना चाहते हैं और इस व्यवसाय को करना चाहते हैं। जैसे भारतीय डाक सेवा, डीएचएल एक्सप्रेस इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, ब्लू डार्ट एक्सप्रेस लिमिटेड, पहली उड़ान कूरियर लिमिटेड, डीटीडीसी कूरियर और कार्गो लिमिटेड आदि।


कूरियर व्यवसाय के लिए सही वाहन का चुनाव

कूरियर सेवाएं एक वाहन की सहायता से ही उपभोक्ताओं तक पहुँचाई जा सकती हैं इसके लिए आप अपनी कंपनी के लिए कौन सा सही वाहन चुनते हैं, या फिर सोचते हैं इस बारे में आपको विचार विमर्श करना बहुत आवश्यक होता है। क्योंकि आपका वाहन का चुनाव 2 बातों पर निर्भर करता है कि आप अपने कूरियर व्यवसाय को कितनी दूरी तक विस्तार कर रहे हैं एवं कितनी क्वांटिटी में आपको कूरियर करना है। उदहारण के लिए यदि आपको 10 से 15 किलोमीटर तक के दायरे में उपभोक्ताओं को सेवा देनी हैं तो इसके लिए आप 2 पहिया वाहन खरीद सकते हैं। लेकिन यदि क्वांटिटी ज्यादा हैं तो आपको बड़े वाहन जैसे माल ढ़ोने वाली मैजिक या टैम्पो का सहारा लेना होगा। इसके अलावा यदि आपको 200 से 300 किलोमीटर या इससे भी ज्यादा दूरी में कूरियर देना है, तो इसके लिए आपको ट्रक का सहारा लेना पड़ सकता है। ये सभी वाहन लेने के लिए आपको कुछ निवेश की भी आवश्यकता होती हैं, जैसे छोटे वाहन पर आपको कम धन निवेश करना होगा और बड़े वाहन के लिए आपको ज्यादा धन का भुगतान करना होगा। इसलिए किसी भी वाहन का चुनाव आपकी कंपनी के विस्तार और आपकी कंपनी की पूँजी पर निर्भर करता है।



कुरियर व्यवसाय के लिए आवश्यक उपकरण

कूरियर व्यवसाय में कुछ वस्तुएँ ऐसी होती हैं जो वजन में बहुत ज्यादा भारी और आकार में बड़ी होती हैं, और जिन्हें उठाने के लिए मानव श्रम भी कम पड़ता है। ऐसी वस्तुओं को उठाने के लिए कूरियर कंपनी में कुछ उपकरणों की आवश्यकता होती है। जैसे बड़ी-बड़ी ट्रॉली जो आसानी से बड़े सामान को उठाकर वाहन में रखने में सहायक होती हैं। जिनमें से कुछ उपकरण कार्गो पट्टियां और टेप आदि हैं जो आप बाजार से ख़रीद सकते हैं।



कूरियर सर्विस बिजनेस के लिए ऑफिस स्थान का चयन

कोरियर सर्विस बिजनेस शुरू करने से पहले आपको स्थान का चयन करना अनिवार्य है, जहां पर लोगों की जनसंख्या अधिक है और कागजी कार्यवाही ज्यादा होती है। वहां पर कोरियर का बिजनेस अच्छे से चलता है। ज्यादा जनसंख्या वाले शहरों में बैंगलुरू, मुंबई, जयपुर, दिल्ली, कोलकाता इत्यादि आते हैं।


यदि आप इन में से किसी एक शहर में अपना यह बिजनेस शुरू करना चाहते हैं तो आपके लिए सबसे बेहतरीन लोकेशन हो सकती है। इसके अलावा भी अन्य शहरों में भी कोरियर का बिजनेस बेहतर तरीके से चलता है।


यदि आप बड़ी बड़ी कंपनी के साथ जुड़कर अपनी कूरियर सेवाएं प्रदान करना चाहते हैं, तो आप व्यावसायिक स्थानों के बीच में अपना ऑफिस स्थापित कर सकते हैं। इसके अलावा यदि आप घरेलू सेवाएं अपने कूरियर व्यवसाय के जरिए प्रदान करना चाहते हैं, तो इसके लिए आप किसी आवास क्षेत्र के आसपास अपना ऑफिस स्थापित कर सकते हैं ताकि लोग आसानी से आपके पास पहुंच सके।



कोरियर कंपनी हेतु मानदंड निम्न है

  • कोरियर बिजनेस शुरू करने से पहले आपको जरूरी लाइसेंस एवं टैक्स रजिस्ट्रेशन जिसे जीएसटी रजिस्ट्रेशन भी कहते हैं संबंधित विभागों द्वारा प्राप्त करने होंगे, उसके बाद ही आप कोरियर व्यवसाय शुरू कर सकते हैं।

  • आप अपने कोरियर व्यवसाय को किस जगह पर स्थापित करना चाहते हैं। यदि जगह को किराए पर लिया गया है या लीज पर लिया गया है एवं स्वयं की जगह है, जो व्यवसाय खोलने के लिए निर्धारित है।

  • कोरियर कंपनी के द्वारा व्यवसायी से सिक्योरिटी डिपॉजिट की मांग की जाती है, जो अलग-अलग कंपनियों के द्वारा अलग-अलग निर्धारित है।

  • जो व्यक्ति कोरियर बिजनेस शुरू करना चाहता है, उस व्यक्ति का फाइनेंशियल स्टेटस चेक करने के लिए पासबुक की कॉपी एवं बैंक स्टेटमेंट की मांग की जाती है।

  • मुख्य कार्यालय के द्वारा व्यवसायी को प्रदान किया गया स्वीकृति पत्र को भी प्रस्तुत करना होता है।

  • व्यवसायी को कोरियर व्यवसाय के लिए आवेदन करने से पूर्व उस कंपनी से लॉजिस्टिक एग्रीमेंट को भी प्राप्त करने की आवश्यकता होगी।



कूरियर व्यवसाय में रजिस्ट्रेशन के लिए आवश्यक दस्तावेज

  • नगर निगम लाइसेंस द्वारा प्राप्त एनरोलमेंट कंसेंट की कॉपी,

  • जिस जगह पर आप अपनी कंपनी आरंभ करना चाहते हैं उस जगह की साइट और लेआउट प्लान की पूरी कॉपी,

  • फायर डिपार्टमेंट से प्राप्त एनओसी की प्रतिलिपि,

  • एक ऐसा फ्लो चार्ट जिस पर आपके द्वारा मैन्युफैक्चरिंग प्रोसेस का कंप्लीट ब्यौरा दिया गया हो,

  • आपकी कंपनी में काम करने वाले सभी कर्मचारियों की पूरी प्रोफाइल की सभी प्रकार की कॉपियां,

  • राज्य के अनुसार भरी जाने वाली फीस की प्रतिलिपि,

  • यदि फ़ूड से जुड़ी कूरियर सेवाएं प्रदान करना चाहते हैं तो फ़ूड डिपार्टमेंट से भी आपको एफएसएसएआई लाइसेंस प्राप्त करना होगा जिसकी प्रतिलिपि भी आवेदन करते समय जमा करानी होती है।

  • इसके अलावा पैन कार्ड की कॉपी

  • आवेदन कर्ता के सभी प्रकार के id प्रूफ,

  • जो कंपनी का मालिक है उसकी ओनरशिप का पूरा प्रूफ,

  • यदि कंपनी पार्टनरशिप में है तो पार्टनरशिप डीड होना आवश्यक है।



कूरियर व्यवसाय के लिए आवश्यक लाइसेंस और पंजीकरण प्रक्रिया

कूरियर व्यवसाय में पंजीकरण करके लाइसेंस प्राप्त करने के लिए आप निम्नलिखित प्रक्रिया को अपनाये :-

  • इसमें सबसे पहले आपको कंपनी के लेटर हेड पर आवेदन भरना होता है।

  • आप जहां पर अपनी कंपनी स्थापित करना चाहते हैं वहां के सरकारी नगरपालिका में जाकर आपको आवेदन पत्र से जुड़ी सभी जानकारी प्राप्त होगी। लाइसेंस के लिए आवेदन पत्र से जुड़ी सभी प्रक्रिया आपको वहीं पर करनी भी होगी।

  • घरेलू, राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय सभी प्रकार के व्यवसाय के लिए अलग आवेदन पत्र भरा जाता है।

  • आवेदन पत्र की स्थिति के अनुसार ही आपको कुछ निर्धारित शुल्क का भुगतान भी करना होता है।

  • आवेदन भरते समय आपको उसमें अपने पार्टनर यदि उपलब्ध हो तो और संबंधित कंपनियों और जिसके साथ आप जुड़कर काम करना चाहते हैं उसका पूरा ब्यौरा उस पत्र में होना चाहिए।

  • कंपनी प्रमाण पत्र प्राप्त करके उसकी प्रतिलिपि भी आपको पंजीकरण करते समय दिखानी होती है।

  • यदि आपकी कंपनी में कई सारे निवेशक हैं तो उनसे जुड़े सभी प्रकार के विवरण और तिथि भी आपको आवेदन पत्र में भरना होता है।

  • कंपनी के निदेशकों और शेयरधारकों की आई-डी और पासपोर्ट की प्रतिलिपि भी आपको एकत्रित करनी होगी।

  • आप अपना व्यवसाय किस देश, शहर और क्षेत्र में आरंभ करना चाहते हैं उसकी पूरी जानकारी आपको उस दस्तावेज़ में भरनी होती है।

  • आपके साथ काम करने वाले सुरक्षा कर्मियों, डाक कर्मचारियों आदि की जानकारी भी आपको अधिकारी के सामने प्रस्तुत करनी होती है।

  • कंपनी की बीमा पॉलिसी करानी बहुत जरूरी है क्योंकि उसकी एक प्रतिलिपि भी आवेदन भरते समय मांगी जाती है।



कूरियर व्यवसाय में लागत एवं रेट का निर्धारण

वैसे तो मानक रूप से कूरियर कंपनी के लिए एक निर्धारित राशि की लिस्ट बनाई गई है जिसके अनुसार ही कूरियर कंपनी किसी उपभोक्ता से सामान के लेन-देन पर धनराशि प्राप्त कर सकते हैं। परंतु फिर भी अपनी एक खुद की एक लिस्ट तैयार करना बहुत जरूरी होता है जिसके लिए आपको निम्नलिखित तरीकों का पालन करना होगा।


  • प्रतियोगी कंपनियों के आधार पर :- सबसे पहले यह पता करें कि आपकी प्रतियोगी कंपनियां कूरियर सर्विस के बदले उपभोक्ताओं से क्या चार्ज करती हैं। उसके बाद आप उस रेट लिस्ट के अनुसार उनसे कम या फिर अनुमानित रेट लिस्ट तैयार कर सकते हैं।


  • समय के आधार पर :- इसके अलावा कुछ कंपनी समय के हिसाब से भी चार्ज करती हैं जैसे घंटे के हिसाब से चार्ज। उसमें जितने घंटे में आप उपभोक्ता तक सामान पहुंचा सकते हैं उतने घंटे की राशि का भुगतान उपभोक्ता द्वारा कूरियर कंपनी को किया जाता है। जैसे आपने सुना होगा कि 30 मिनट में यदि आपके पास कोई कूरियर नहीं पहुंचे तो आप उसे फ्री में भी ले सकते हैं। ठीक इसी प्रकार से कुछ कूरियर कंपनी उपभोक्ताओं को आकर्षित करने के लिए एक समय सीमा बांध देती है और उपभोक्ताओं को उनकी मनचाही सुविधाएँ प्रदान करती है।


  • भारी या कांच के सामान के लिए अलग से चार्ज :- प्रत्येक कूरियर कंपनी सामान के वजन, आकार और कीमती कांच के सामान के हिसाब से चार्ज करती है। ठीक इसी प्रकार से आपको भी यदि अपनी कंपनी स्थापित करनी है तो स्थापित करते समय आपको यह बात ध्यान रखना होगगा कि आपको एक ऐसी लिस्ट भी तैयार करनी चाहिए जो सामान के वजन के हिसाब से चार्ज दर्शाती हो।


  • छुट्टी वाले दिन के लिए लगाया जाने वाला चार्ज :- कुछ कूरियर कंपनी ऐसी होती हैं जो राष्ट्र छुट्टी के दिन भी खुली होती हैं और अपनी सेवाएं उपभोक्ताओं तक पहुँच रही होती हैं ऐसे में वे उस अवकाश का फायदा उठाकर कुछ एक्स्ट्रा चार्ज करती हैं। जिसकी लिस्ट भी कुरियर कंपनी द्वारा पहले से निर्धारित की जाती है।


  • वेटिंग चार्ज :- यदि आप अपना सामान एक स्थान से दूसरे स्थान पहुँचाना चाहते हैं तो उसके लिए आप किसी भी कूरियर कंपनी से संपर्क कर सकते हैं इसके लिए आपको कूरियर में पिकअप सर्विस का ऑप्शन चुनना होगा। जिसके बाद कोरियर कंपनी से एक व्यक्ति आकर आपका सामान ले जाता है यदि आप अपने सामान को पैक करने में देरी लगा देते हैं तो उस पर एक चार्ज लगाया जाता है जिसे वेटिंग चार्ज कहा जाता है। जिसे पहले से ही निर्धारित किया जाता है।



कूरियर व्यवसाय में कमाई और लाभ

वर्तमान समय में कोरियर व्यवसाय बहुत अधिक प्रचलन में है। क्योंकि व्यस्त जीवनशैली में व्यक्ति अपने कार्यों के लिए कोरियर व्यवसाय की सहायता लेता है। अतः कोरियर व्यवसाय में व्यक्ति को पर्याप्त लाभ की संभावना है।


यदि आप कोरियर सर्विस बिजनेस को शुरू करते है तो आप महीने के 50 से 60 हजार रूपये तो आसानी से कमा सकते है। लेकिन यदि आप बड़े स्तर पर बिजनेस शुरू करते है तो आपका मुनाफ़ा लाखों में हो सकता है।


कूरियर कंपनी अपने पास कुछ एंप्लॉय को रखती है जो सामान को एक जगह से दूसरी जगह पहुंचाने का काम करते हैं, और उन्हें सैलरी या कुछ परसेंट कमीशन देती है। ऐसे में बाकी का बचा हुआ धन पूरी तरह से कूरियर कंपनी के लिए लाभ होता है। जैसे-जैसे इस व्यवसाय में बढ़ोतरी होती जाती है, वैसे-वैसे इस व्यवसाय में कमाई और लाभ दोनों के ही अवसर बढ़ते जाते हैं। किसी भी बड़ी कंपनी के साथ फ्रेंचाइजी लेकर जुड़ने के लिए आपको मात्र 50 हजार से लेकर 1 लाख रुपये की आवश्यकता होती है। जिसमें सालाना 5 लाख से ऊपर तक की कमाई और लाभ प्राप्त होने की संभावना रहती है। वहीं यदि आप अपना खुद का व्यवसाय आरंभ करते हैं तो उसके लिए आपको लगभग 5 लाख से लेकर 10 लाख रूपये निवेश करने पड़ते हैं। और इसमें आपको सालाना 10 लाख रुपए का लाभ प्राप्त हो सकता है।


कूरियर व्यवसाय को अमेज़न और फ्लिपकार्ट से जोड़ने का तरीका

अगर आप अपने कूरियर व्यवसाय को फ्लिपकार्ट या अमेज़न जैसी बड़ी कंपनियों के साथ जोड़ना चाहते हैं तो उसके लिए आपको उनसे संपर्क करके उनसे जुड़ने की सभी प्रक्रिया पूरी करनी होगी। उसके बाद जब आप कंपनी के साथ जुड़ जाते हैं तो जिस क्षेत्र में आप व्यवसाय करते हैं या करना चाहते हैं, उस क्षेत्र के आसपास के दायरे की सामान की डिलीवरी का सारा काम आपकी कम्पनी को ही सोंपा दिया जाता है। यह कंपनी आपको प्रत्येक सामान की डिलीवरी पर कुछ कमीशन के आधार पर चार्ज देती हैं, जिससे आपकी कमाई धीरे – धीरे बढ़ती जाती है। इन कंपनी के साथ जुड़कर सारी प्रक्रिया ऑनलाइन की जाती है और इन कंपनी के द्वारा समान की डिलीवरी के लिए बड़ी – बड़ी कूरियर कंपनी को हायर किया जाता है।



कोरियर सर्विस बिजनेस के लिए मार्केटिंग

कोरियर के बिजनेस में आप के सबसे ज्यादा मार्केटिंग आपकी सभी के आधार पर ऑटोमेटिक होती है। लेकिन यदि शुरुआत में बिजनेस को प्रमोट करना चाहते हैं तो आप ऑनलाइन व ऑफलाइन तरीके से मार्केटिंग करके अपने बिजनेस के बारे में या अपने सर्विस के बारे में लोगों को याद करवा सकते हैं कि हमारा यह कोरियर है और इस कोरियर में आपको इन इन शहरों में बेहतरीन सर्विस मिलेगी।



कूरियर व्यवसाय में उपभोक्ता ढूंढने के तरीके

किसी भी व्यवसाय में उपभोक्ताओं को आकर्षित करने के लिए विभिन्न तरीकों को अपनाना पड़ता है ठीक इसी प्रकार कूरियर व्यवसाय में भी उपभोक्ताओं को आकर्षित करने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ती है।

  • इस व्यवसाय में उपभोक्ता लाने के लिए आप अपनी कंपनी का प्रोमोशन कर सकते हैं।

  • बड़ी और जानी मानी कम्पनी के साथ जुड़कर भी उनके द्वारा आने वाले ग्राहकों को आप अपने कम्पनी की सेवायें प्रदान कर सकते है।

  • इसके अलावा आप ऑनलाइन वेबसाइट बनाकर सीधे ही ग्राहक के संपर्क में आ सकते हैं और उन्हें अपनी सेवा का लाभ उठाने का अवसर दे सकते हैं।

  • कुछ अच्छे और आकर्षक ऑफर और डिस्काउंट के जरिए भी आप उपभोक्ताओं को अपनी तरफ आकर्षित कर सकते हैं।



कूरियर व्यवसाय में सुरक्षा

कूरियर व्यवसाय में सुरक्षा को महत्व देना बहुत ज्यादा आवश्यक होता है क्योंकि कूरियर व्यवसाय की सभी सेवाएं उपभोक्ताओं की संतुष्टि और प्रतिष्ठित कंपनियों के भरोसे पर आधारित होता है। ऐसे में उपभोक्ताओं के सामान जिसकी डिलिवरी आपको दूसरी जगह पर देनी होती है, उसकी देखरेख करना आपकी सबसे बड़ी जिम्मेदारी होती है ताकि उस सामान को किसी भी प्रकार का नुकसान ना पहुंच सके। एक छोटा सा नुकसान आपकी कंपनी और उपभोक्ता के बीच अविश्वास पैदा कर सकती है, और इससे आपकी कंपनी को बहुत बड़ा नुकसान भी पहुंच सकता है।



फ्रेंचाइजी लेकर कोरियर व्यवसाय शुरू करना

आप फ्रेंचाइजी लेकर भी कोरियर व्यवसाय को शुरू कर सकते हैं। यह उन व्यवसायियों के लिए होता है, जिनके पास निवेश की लागत बहुत अधिक नहीं होती है और वे कोरियर बिजनेस शुरू करना चाहते हैं। उनके लिए यह विकल्प आसान है कि वे किसी कंपनी की फ्रेंचाइजी लेकर यह व्यवसाय शुरू कर सकते हैं।


यह विकल्प इसलिए भी आसान होता है क्योंकि वह कंपनी पहले से ही मौजूद होती है और इस क्षेत्र में नाम बना कर रखती है, जिससे व्यवसायी को ट्रांसपोर्टेशन, लॉजिस्टिक्स, वेयरहाउस, मार्केटिंग आदि कामों मे आसानी हो जाती है। मतलब यह सभी कार्य उस फ्रेंचाइजी कंपनी के द्वारा संपन्न किए जाते हैं।


तो आप जब भी कोरियर कंपनी व्यवसाय को शुरू करने का विचार करें, इन दोनों विकल्पों के ऊपर जरूर ही विश्लेषण करें। ताकि आपको इस व्यवसाय में आने वाली चुनौतियां और कठिनाइयों का ज्ञान पूर्व ही हो जाए।


हालांकि दूसरा विकल्प बहुत अच्छा है, क्योंकि इससे व्यक्ति को उस क्षेत्र का ज्ञान हो जाता है और आने वाली जोखिम कम हो जाती है। भारत में प्रसिद्ध कोरियर कंपनियां जो फ्रेंचाइजी उपलब्ध कराती हैं:


  • भारतीय डाक विभाग

  • ब्लू डार्ट एक्सप्रेस लिमिटेड

  • फेडेक्स इंडिया

  • फर्स्ट फ्लाइट कूरियर लिमिटेड

  • टीएनटी एक्सप्रेस

  • ओवर्नाइट एक्सप्रेस लिमिटेड


प्रमुख कोरियर कंपनियां है, जो फ्रेंचाइजी उपलब्ध कराती है। व्यक्ति को फ्रेंचाइजी लेते समय यह ध्यान रखना चाहिए कि कोरियर कंपनियां अपनी फ्रेंचाइजी किसी भी व्यक्ति को ऐसे ही उपलब्ध नहीं कराती हैं। इसके लिए प्रत्येक कंपनी ने अपने कुछ पात्रता मानदंड और प्रक्रिया को स्थापित किया है। जो भी व्यक्ति इन सभी मानदंडों पर पात्र होता है, उन्हें ही कोरियर फ्रेंचाइजी दी जाती है।



कोरियर सर्विस बिजनेस के लिए कर्मचारियों की भर्ती



कोरियर व्यवसाय हेतु व्यवसायी को कुछ कर्मचारियों की आवश्यकता होगी, जोकि कोरियर लाने ले जाने वेयरहाउस में रखने और ग्राहकों के पते तक पहुंचाने के लिए आवश्यक है।


फ्लिपकार्ट कूरियर सर्विस फ्रैंचाइज़ी के लिए अप्लाई कैसे करें (HOW TO APPLY FOR FLIPKART COURIER SERVICE FRANCHISE)

ई – कॉमर्स क्षेत्र की जानी -मानी कंपनी फ्लिपकार्ट के कूरियर सर्विस फ्रैंचाइज़ी लेकर अपना बिजनेस स्टार्ट किया जा सकता है। फ्लिपकार्ट की कूरियर सर्विस कंपनी ईकार्ट (Ekart) है। ईकार्ट द्वारा एक महीने में लगभग 10 लाख शिपमेंट की डिलीवरी विभन्न पिन कोड्स पर किया जाता है। ईकार्ट द्वारा अपने कूरियर बिजनेस को बढ़ाने के लिए कूरियर सर्विस पार्टनर की फ्रैंचाइज़ी वितरित की रही है। यदि आप भारत की नंबर वन ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट की लोजिस्टिक (Logistic) पार्टनर के लिए अप्लाई करना चाहते हैं, तो आपको ईकार्ट लोजिस्टिक कंपनी से संपर्क करना होगा। फ्लिपकार्ट के लोजिटिक सर्विस की फ्रैंचाइज़ी लेने के लिए अनुमानित निवेश रु 50,000 से रु 1,00,000 तक करना पड़ सकता है। यदि आप किसी छोटे शहर में फ्लिपकार्ट कूरियर सर्विस का बिजनेस शुरू करने के लिए फ्रैंचाइज़ी लेना चाहते है, तो आपको कम सिक्यूरिटी मनी डिपाजिट करनी होगी। किसी महानगर फ्लिपकार्ट कूरियर सर्विस की फ्रैंचाइज़ी लेने के लिए ज्यादा सिक्यूरिटी मनी जमा करनी होगी। फ्ल्पीकार्ट कंपनी देश के प्रत्येक छोटे -बड़े शहर में प्रोडक्ट्स की डिलीवरी करती है। अतः इस बिजनेस को आप अपने शहर में रहकर शुरू कर सकते हैं। आइये जाने फ्लिपकार्ट कूरियर सर्विस फ्रैंचाइज़ी के लिए अप्लाई करने की जानकारी।



FLIPKART FRANCHISE TERMS & CONDITION  फ्लिपकार्ट फ्रैंचाइज़ी के लिए आवश्यक शर्तें 

  • फ्लिपकार्ट की लोजिस्टिक फ्रैंचाइज़ी आवेदन के लिए आपके पास 300 sq ft से ज्यदा जगह होना चाहिए।

  •  बिजनेस शुरू करने के लिए जगह किराए पर लेने की दशा में किराए के एग्रीमेंट के डाक्यूमेंट्स होना आवश्यक है।

  •  शिपमेंट की डिलीवरी करने के लिए कम से कम 2 या 3 डिलीवरी बॉय होना चाहिए।

  • कंप्यूटर, प्रिंटर, स्कैनर और इन्टरनेट कनेक्शन होना आवश्यक है।



FLIPKART FRANCHISE REQUIRED DOCUMENTS  फ्लिपकार्ट फ्रैंचाइज़ी के लिए आवश्यक दस्तावेज़ 

  • पहचान प्रमाण पत्र के तौर पर आधार कार्ड /पैन कार्ड

  • बैंक पासबुक के पहले पेज की फोटोकॉपी / डिमांड ड्राफ्ट

  • ऑफिस स्पेस के सत्यापन के लिए दूकान के दस्तावेज़

  • ड्राइविंग लाइसेंस /राशन कार्ड / वोटर आईडी कार्ड की भी आवश्यकता पड़ सकती है



FLIPKART FRANCHISE APPLICATION  फ्लिपकार्ट फ्रैंचाइज़ी के लिए आवेदन 

  • फ्लिपकार्ट लोजिस्टिक फ्रैंचाइज़ी बिजनेस के लिए ईकार्ट डीलरशिप के लिए आवेदन करना होगा।

  • ईकार्ट डीलरशिप के लिए hulk-centeral-team@flipkart.com ईमेल आईडी पर रिक्वेस्ट लैटर भेजना होगा।

  • ईमेल में आवेदक का पूरा नाम, बिजनेस के स्थान का एड्रेस,पिन कोड, कांटेक्ट नंबर/ अपना मोबाइल नंबर लिखना आवश्यक है।

  • यदि आपके बिजनेस की जगह के आस-पास अन्य कूरियर सर्विस कंपनी है, तो उसकी दूरी किलोमीटर में लिखना आवश्यक होगा।

  • इसके बाद ईकार्ट कंपनी द्वारा आपकी पात्रता की जाँच करने के बाद सात कार्यदिवस के अन्दर सूचित किया जाएगा।



फ्लिपकार्ट फ्रैंचाइज़ी हेल्पलाइन नंबर :–

1800 420 1111 / Toll Free Helpline- 08067982222



Ekart Logistics Registered Office Address :–

Brigade Manae Court, First Floor,

No.111, Koramangala Industrial Layout,

Bangalore- 560 095, Karnataka,

India


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Q : कूरियर व्यवसाय कैसे आरम्भ किए जा सकता है?

Ans : कूरियर व्यवसाय आरंभ करने के लिए सबसे पहले आपको व्यवसाय की श्रेणी को निर्धारित करना होगा। उसके बाद आपको अपनी व्यवसाय के लिए पूँजी का इंतज़ाम करना होगा। फिर आपको एक कानूनी धारा 6 तैयार करना होगा जिसके अंतर्गत आपको लाइसेंस प्राप्त करना और अपनी कंपनी का पंजीकरण कराना होता है। जब आपका व्यवसाय पूरी तरह से बाजार में लाने के लिए तैयार हो जाए, तो आपको धीरे-धीरे अपने व्यवसाय के लिए मार्केटिंग योजना बनानी होगी ताकि व्यावसायिक विस्तार कर सके। फिर धीरे-धीरे आपको बड़ी बड़ी कंपनी और उपभोक्ताओं के संपर्क में आना होगा ताकि आपका व्यवसाय धीरे धीरे बढ़ सके और उन्नति करे।


Q : कूरियर कंपनी व्यवसाय में अपना खुद का व्यवसाय करना लाभदायक है या किसी प्रतिष्ठित कंपनी से फ्रेंचाइजी लेना?

Ans : कूरियर व्यवसाय में खुद का बिज़नेस सेट करने से बेहतर किसी प्रतिष्ठित कंपनी से उसकी नाम की फ्रेंचाइजी लेना ज्यादा लाभदायक होता है। क्योंकि उस कंपनी में ज्यादा निवेश करने की आवश्यकता नहीं होती है, बल्कि फ्रेंचाइजी लेने के बाद एक प्रतिष्ठित नाम हमें मिल जाता है, जिसकी मदद से हम अपने व्यवसाय को जारी रख कर अच्छा धन कमा सकते हैं।


Q : कूरियर कंपनी पैसा कैसे कमाती है?

Ans : कूरियर कंपनियां उपभोक्ताओं द्वारा भेजे जाने वाले सामान को एक जगह से दूसरी जगह तक पहुंचाने का काम करते हैं जिसके बदले उन्हें एक धनराशि प्राप्त होती है।


Q : कूरियर व्यवसाय आरंभ करने के लिए कितनी धनराशि की आवश्यकता होती है?

Ans : अनुमानित आंकड़ों के अनुसार यदि आप किसी प्रतिष्ठित कंपनी से फ्रैंचाइज़ी लेते हैं तो आपको ज्यादा धन की आवश्यकता तो नहीं होती है। परंतु यदि आप अपना खुद का व्यवसाय आरंभ करने की सोच रहे हैं, तो व्यावसायिक आवश्यकताओं के आधार पर आपको लगभग 50,000 रुपये से लेकर ₹1,00,000 तक की आवश्यकता इस व्यवसाय को आरंभ करने में पड़ सकती है।


Q : क्या आपके कारोबार पर कोई भी ऑब्जेक्शन या अपील जबरदस्ती थोपा जा सकता है?

Ans : यदि आप कुरियर व्यवसाय में आवश्यक सभी दस्तावेज एकत्रित करते हैं, और आपने अपनी रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी तरह से अपनाई है और उसके बाद आपको लाइसेंस भी मिल गया है तो आपके ऊपर किसी भी प्रकार का नोटिस या चालान जबरदस्ती नहीं लगाया जा सकता है। यदि आपके साथ ऐसा कोई भी करता है, तो उसके खिलाफ आप उसी विभाग की कानूनी व्यवस्था के अंतर्गत अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं।


Q : कूरियर सर्विस के अंतर्गत आप किस प्रकार की वस्तुएं कूरियर कर सकते हैं?

Ans : कूरियर सर्विसेज के अंतर्गत आप किसी भी प्रकार के दस्तावेज, कोई भी गिफ्ट किसी भी प्रकार का खाने का सामान, छोटे से लेकर बड़े किसी भी प्रकार के सामान को एक स्थान से दूसरे स्थान तक भेज सकते हैं। उनकी सेवाओं के लिए आपको अपनी वस्तुओं के अनुसार एक निर्धारित मूल्य शिपिंग चार्जेस के रूप में उपभोक्ताओं से मिल जाता है।


Q : किस प्रकार की वस्तुएं कूरियर सर्विसिस द्वारा लाई या भेजी नहीं जा सकती हैं?

Ans : किसी भी प्रकार की जलने वाली वस्तु, रेडियो धर्मी या चुंबकीय प्रकार की सामग्री और ड्रग्स, कोई भी लिक्विड वस्तु या गैस जैसी किसी भी प्रकार की वस्तु कूरियर सेवा द्वारा लाई या भेजी नहीं जा सकती है।


Q : क्या ग्राहक द्वारा मंगाए गए या भेजे गए सामान को वे ट्रैक कर सकते हैं?

Ans : जी हां ग्राहकों को कोरियर कंपनी द्वारा एक कंसाइनमेंट नंबर दिया जाता है जिसे कूरियर सर्विस द्वारा प्राप्त ट्रैकिंग सर्विस में अपना कंसाइनमेंट नंबर डालकर ग्राहक अपनी कूरियर द्वारा मंगाई गई वस्तु या भेजी गई वस्तु की स्थिति जान सकते हैं।


Q : क्या कोरियर का बिजनेस शुरू करने के लिए रजिस्ट्रेशन करवाना अनिवार्य है?

Ans : जी हां, कोरियर का बिजनेस शुरू करने के लिए आपको रजिस्ट्रेशन करवाना पड़ता है। रजिस्ट्रेशन के तौर पर यदि आप किसी भी कोरियर सर्विस की फ्रेंचाइजी लेते हैं तो आपको वहां पर रजिस्ट्रेशन करवाना होगा। यदि आप अपना खुद का कोरियर बिजनेस शुरू करना चाहते हैं तो ऐसे में भी आपको जीएसटी रजिस्ट्रेशन और अन्य रजिस्ट्रेशन करवाने होंगे।


Q : कोरियर का बिजनेस शुरू करने पर कितना इन्वेस्टमेंट करना होता है?

Ans : कोरियर के बिजनेस को शुरू करते समय आपको थोड़ा इन्वेस्टमेंट करना होगा। आपको अलग-अलग शहरों में आपने ऑफिस खोलने होंगे, उसके अलावा अलग-अलग शहरों में अलग-अलग स्टाफ भी रखने होंगे। साथ ही साथ डिलीवरी ब्वॉय को भी रखना होगा ताकि आपके कोरियर की सर्विस बेहतर बनी रहे। अतः इस बिजनेस को आप पांच से ₹7 लाख के इन्वेस्टमेंट शुरू कर सकते हैं।


Q : क्या कोरियर का बिजनेस शुरू करने पर अपनी वेबसाइट बनाना जरूरी है?

Ans : जी हां। यदि आप कोरियर का बिजनेस शुरू करना चाहते हैं तो आपको अपने कोरियर के नाम की एक वेबसाइट बनानी होगी ताकि व्यक्ति वहां पर ट्रैकिंग नंबर से अपने डॉक्यूमेंट की डिटेल जान सके साथ ही साथ वेबसाइट के माध्यम से वर्तमान समय में नए कस्टमर भी मिल जाते हैं।


Q : कूरियर कंपनी की फ्रैंचाइज़ी कैसे ले?

Ans : फ्लिपकार्ट के लोजिटिक सर्विस की फ्रैंचाइज़ी लेने के लिए अनुमानित निवेश रु 50,000 से रु 1,00,000 तक करना पड़ सकता है। यदि आप किसी छोटे शहर में फ्लिपकार्ट कूरियर सर्विस का बिजनेस शुरू करने के लिए फ्रैंचाइज़ी लेना चाहते है, तो आपको कम सिक्यूरिटी मनी डिपाजिट करनी होगी।


Q : कूरियर का क्या काम होता है?

Ans : एक कूरियर(Courier) सेवा एक ऐसी सेवा है जो किसी को एक स्थान से दूसरे स्थान पर पार्सल या माल भेजने की अनुमति देती है। उन्हें ऑनलाइन बुक किया जा सकता है और भुगतान किया जा सकता है।


Q : कूरियर करने में कितना पैसा लगता है?

Ans : साधारण लेटर बन्द लिफाफा डाक विभाग के स्पीड पोस्ट से भेजने पर 42 रुपये चार्ज लगता है वहीं, निजी कूरियर से इसके एवज में 60 से 70 रुपए देने पड़ते हैं। जबकि अच्छी कुरियर सेवा का दम भरने वाली कुछ कुरियर सेवाएं इस काम के 80 से 100 रुपए लेती हैं।



निष्कर्ष

आज के इस आर्टिकल में हमने बात की कोरियर व्यवसाय की। इस व्यवसाय को कैसे शुरू किया जाता है, व्यवसाय शुरू करते समय हमें किन-किन बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए, इस व्यवसाय की लागत क्या होती है आदि।

उम्मीद है आपको यह आर्टिकल कोरियर सर्विस बिजनेस कैसे शुरू करें? (Courier Service Business in Hindi) पसंद आया होगा और कोरियर व्यवसाय से संबंधित सभी प्रश्नों के उत्तर आज के इस आर्टिकल में आपको मिले होंगे।


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